November 11, 2025

दरोगाओं ने टूटे सिम और सीडीआर से पहुंच गए खूनी तक

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दो दरोगाओं ने टूटे सिम और सीडीआर से खोल दी ट्रिपल मर्डर की मिस्ट्री

5 लाख रुपयों को ऐंठने के लिए सीरियल किलर ने तीन लोगों की हत्या कर दी थी

9 महीने बाद वाराणसी में ट्रिपल मर्डर केस में होगा बड़ा खुलासा

वाराणसी(नरेंद्र शर्मा)।कातिल चाहे कितना ही शातिर क्यों न हो, कोई न कोई सुराग जरूर छोड़ जाता है।अपुष्ट सूत्रों की मानें तो वाराणसी में नवागत एसएसपी अमित पाठक के निर्देश पर मडुवाडीह पुलिस ने एक के बाद एक करके अलग-अलग जगह पर हुई 3 हत्याकांड की ऐसी ही गुत्थी को सुलझा लिया है। इस ट्रिपल मर्डर में भी सीरियल किलर ने कई अहम सुराग छोड़े। जिनके जरिये मडुवाडीह पुलिस के दो दारोगावों ने कत्ल के रहस्य से पर्दा उठा दिया। घटना से कुछ देर पहले कातिल का मोबाइल बंद हो जाना।रोज मोबाइल पर बात करना लेकिन जब-जब कत्ल हुई उस दिन कोई काल न होना। घर से फरार हो जाना। तमाम ऐसे अहम सुराग थे जिनकी कड़ियों को पुलिस जोड़ती चली गई और लगभग घटना के 9 माह बाद कभी बनारस में सनसनी फैला देने वाले ट्रिपल मर्डर मिस्ट्री का पर्दाफाश हो गया। लहरतारा निवासी सुमित श्रीवास्तव पेशे से एलआईसी एजेंट थे। लहरतारा के ही रहने वाले एक बैंककर्मी ने सुमित श्रीवास्तव का 5 लाख का लोन दिलवाया। बैंककर्मी ने ही भिटारी,लोहता निवासी सीरियल किलर मास्टर माइंड को सुमित के खाते में 5 लाख रुपये होने की बात बताते हुए रुपयों को हथियाने की योजना बनाई।चूंकि सुमित एलआईसी का एजेंट था।बैंककर्मी ने उससे कुछ लोगों की नई पॉलिसी करवाने की बात बताई।सीरियल किलर की मदद से नई पॉलिसी कराने की बात कह कर सुमित को लोहता क्षेत्र स्थित एक खेत में लगे ट्यूबल मशीन वाले कमरे में बुलवाया गया।उस दिन बैंककर्मी ही कबीर चौरा क्षेत्र से सुमित श्रीवास्तव को अपने बाइक पर बैठा कर लोहता में उस जगह पर ले गया था जहां पहले से ही सीरियल किलर व उसके दो अन्य लोग मौजूद थे। सुमित को बताया गया कि सभी लोग एलआईसी की पॉलिसी समझने के लिए आए हैं।सुमित ट्यूबेल मशीन वाले कमरे में कुर्सी पर बैठकर सभी को एलआईसी की प्लान समझाने लगे। इसी बीच सीरियल किलर व उसके सहयोगियों ने मिलकर गमछे का फंदा बनाकर सुमित का गला घोट दिया और सुमित का एटीएम, मोबाइल और आधार कार्ड ले लिए। इसके बाद सुमित के शव को कार में रखकर राजगढ़ के जंगल में ले जाकर फेंक दिए।किलर ने सुमित के एटीएम को राजातालाब निवासी एक लड़के को दे दिया। लड़के ने किलर की मदद से एटीएम का पिन चेंज करके कुछ रुपया नकद निकलवाया व कुछ रुपया पड़ाव निवासी एक व्यक्ति को सुमित के मोबाइल से ट्रांसफर कर दिया। इसी क्रम में मोबाइल बैंकिंग के जरिये मृत सुमित के मोबाइल से राजातालाब निवासी एक युवक के अकाउंट में 20 हजार रुपये ट्रांसफर किया गया।मामले की विवेचना कर रहे लहरतारा चौकी के दो दरोगावों ने सीडीआर की मदद से शक के आधार पर राजातालाब क्षेत्र निवासी युवक के घर छापेमारी कर दी।छापेमारी की जानकारी किलर को हो गई।किलर ने राजातालाब में हुई छापेमारी वाले लड़के को फोन किया और उसे राजातालाब बुलाया।किलर और राजा तालाब के एक अन्य लड़के ने छापेमारी वाले लड़के को साथ बैठा कर बच्छाव स्थित गंगा घाट के किनारे ले गए।किलर और उसके एक साथी ने मिलकर युवक की हत्या कर शव को नदी में फेंक दिया।इधर अब राजातालाब वाले लड़के की मौत के बाद मामला और पेंचीदा हो गया था।विवेचना कर रहे मडुवाडीह के दोनों दरोगा अब पड़ाव निवासी युवक की तलाश करने में जुट गए।यह जानकारी भी किलर को हो गई। उसने और उसके एक साथी ने पड़ाव निवासी लड़के को पार्टी के बहाने लोहता स्थित उसी ट्यूबवेल मशीन के कमरे में बुलाया जहां सुमित की हत्या की गई थी। पड़ाव वाले लड़के को बुलाकर दारु-मुर्गा खिलाया गया व नशे में होने पर उसकी गला दबाकर हत्या कर दी गई।इसके बाद पड़ाव वाले लड़के के शव को कार में रखकर चुनार वाले गंगा पुल के ऊपर से शव को गंगा नदी में फेंक दिया गया। इस मामले में मडुवाडीह पुलिस के दरोगावों ने रोहनियां पुलिस की आंशिक मदद से तीनों हत्याओं में शामिल कुल 6 लोगों को अलग-अलग जगह से गिरफ्तार करते हुए तीनों लाशों को ठिकाने लगाने वाली स्विफ्ट डिजायर गाड़ी, मोबाइल व एक मोटरसाइकिल को अपने कब्जे में ले लिया है।

मृतकों के मोबाइल भी लेकर फरार हो गया था हत्यारोपी

वाराणसी।तीनों की हत्या करने के बाद सीरियल किलर तीनों का मोबाइल लेकर फरार हो गया था।हालांकि हत्यारे ने दो लोगों के मोबाइल नंबर खोले नहीं और न ही उन नंबरों का इस्तेमाल किया।दरोगावों ने लापता सुमित के मोबाइल की सीडीआर निकलवाई तो लहरतारा निवासी बैंककर्मी शक के घेरे में आ गया।पुलिस ने इस घटना में जिनके यहां भी दबिश दी उनकी सीरियल किलर ने अपने सहयोगियों के साथ मिलकर हत्या कर दी।इस दौरान जो भी संदेह के घेरे में आया उनके नम्बरों को पुलिस द्वारा सर्विलांस पर लगाया जा चुका था। जैसे ही उसने मोबाइल बदला, पुलिस को उसके पुराने सिम के जरिये आईएमईआई नंबर की जानकारी हो चुकी थी। हालांकि किलर ने शातिर दिमाग का इस्तेमाल करते हुये सुमित के सिम को तोड़ दिया था।अब नये मोबाइल में नई सिम थी, लेकिन एक कॉल पुराने सिम से करने की वजह से वह पुलिस के रडार पर आ चुका था। पुलिस ने सर्विलांस के जरिये उसकी लोकेशन ट्रेस कर ली। इसके बाद मडुवाडीह के दोनों दरोगावों ने सर्विलांस के जरिये लोकेशन ट्रेस करते हुये और पीछा करते हुये एक के बाद एक हत्या में शामिल कुल 6 लोगों को गिरफ्तार कर लिया।

एक हत्या के आरोप में 5 निर्दोष लोग पहले ही भेजे जा चुके हैं जेल

वाराणसी।सूत्रों की मानें तो रोहनिया थाना क्षेत्र निवासी एक युवक के हत्या के आरोप में मृत युवक की पत्नी की तहरीर पर नामजद मृतक के 5 परिचितों को ही रोहनिया पुलिस बिना तफ्तीश के ही कसूरवार ठहराते हुए गिरफ्तार करके जेल भेज चुकी है। इस मामले में पुलिस की खूब पीठ थपथपाई गई थी।सवाल यह उठता है कि अब युवक की हत्या के सही आरोपी पकड़े जा चुके हैं तो उन बेकसूर लोगों का क्या होगा जो हत्या के आरोप में पिछले कई महीनों से बिना वजह जेल में हैं।

महज 10-10 हजार रुपयों के लिए हत्या में की मदद

वाराणसी।हत्या के आरोप में गिरफ्तार 4 युवकों को सीरियल किलर ने हत्या में सहयोग करने के लिए महज 10-10 हजार रुपये दिए थे।

हत्यारों को छोड़ने के लिए सफेदपोशों ने बनाया दबाव

वाराणसी।सारे सबूत मिलने के बाद युवकों की गिरफ्तारी होने पर प्रदेश सरकार के दो मंत्रियों व कई नेताओं ने युवकों को छोड़ने के लिए दबाव बनाया।पकड़े गए लोगों के हत्या में शामिल होने का पूरा सबूत होने की बात कड़क एसएसपी द्वारा बताने पर सफेदपोश शांत हो गए।

नोट-सभी प्राप्त सूचनाएं तब तक अपुष्ट समझे जब तक कि एसएसपी खुलासा न कर दें।